परिचय
दिल्ली हाई कोर्ट ने दिल्ली जल बोर्ड (DJB) को कड़ी फटकार लगाई है क्योंकि DJB की लापरवाही के चलते लोग “सैवेज–मिश्रित पानी” पीने को मजबूर हो रहे हैं। इसका मुख्य आधार Yojana Vihar, Anand Vihar और Jagriti Enclave जैसे पूर्वी दिल्ली इलाके हैं, जहां “बिलकुल काला, गंदा पानी“ घरेलू नलों से निकल रहा है।
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मामला क्या है?
- PIL दर्ज की गई – अधिवक्ता Dhruv Gupta ने याचिका दायर की जिसमें दावा किया गया कि June 12 से इन कई इलाकों में जहरीला पानी आ रहा हैm.economictimes.com+1newindianexpress.com+1।
- हाई कोर्ट ने आदेश दिया – 2 जुलाई को कोर्ट ने DJB से क्षेत्र में तुरंत निरीक्षण करने और रिपोर्ट प्रस्तुत करने को कहा।
- गंभीर टिप्पणी – 4 जुलाई को सुनवाई में जजों ने चेतावनी दी:

DJB की रिपोर्ट में क्या सामने आया?
- 35 साल पुरानी पाइपलाइनें – योज़ना विहार जैसी जगहों की पानी वितरण प्रणाली पुरानी हो चुकी है और उसका यथास्थिति में मरम्मत होनी चाहिए।
- DJB ने कहा tender 7 जुलाई तक निकाला जाएगा और 17 जुलाई तक कॉन्ट्रैक्ट मिलेगा, 20 दिनों में काम पूरा कर दिया जाएगाtimesofindia.indiatimes.com+5m.economictimes.com+5nationalheraldindia.com+5।
- हाई कोर्ट ने सब काम August 2025 तक पूरा करने का निर्देश दिया, और असफलता पर कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी।
- Sewage Treatment Plant (STP) – साफ-सफाई और सड़क या नाली से पानी के रिसाव को रोकने के लिए desilting अगस्त तक पूरा होगा।
- बूस्टर पंप पर रोक – अदालत ने कहा, गैर-सप्लाई घंटों में बूस्टर पंप का इस्तेमाल कड़ा प्रतिबंधित होगा।
निष्कर्ष – कोर्ट की ट्रैकिंग और नागरिकों का अधिकार
इस पूरे घटनाक्रम से स्पष्ट होता है कि ताजा और साफ पानी की मांग सिर्फ कानूनी अधिकार नहीं, बल्कि हर नागरिक की बुनियादी आवश्यकता है। हाई कोर्ट की सख्ती से साफ संकेत जाता है कि DJB को जल्द से जल्द ऐक्टिव होना चाहिए, अन्यथा इस अदालत की निगरानी चलेगी।